adsense code

Saturday, November 13, 2010

Fw: दोष

 
----- Original Message -----
From: mggarga
Sent: Saturday, November 13, 2010 5:24 AM
Subject: दोष

 
दोष
 

इंसान की व्यवस्थायें बहुत अच्छी हो सकती हैं । परन्तु उनमें दोष न हो, ऐसा सम्भव नहीं । कार्य बहुत अच्छे हो सकते हैं, मगर दोष रहित न हों ऐसा नहीं हो सकता। कहीं न कहीं कुछ न कुछ कमियों तो रह जाती है, क्योंकि इंसान अपूर्ण है। पूर्णता तो सिर्फ़ ईश्वर में है और जहाँ पूर्णता है वहां आनन्द है, सुख है, शांति है, चैन है। लेकिन यह सब उसी को मिलता है, जो उस पूर्ण से जुड़ जाता है। उस परमपिता से जुड़ने के बाद फ़िर कोई कमी नहीं रह जाती।

 

परम पूज्य सु्धांशुजी महाराज 

  

No comments: